माधव की डायरी
ब्लैक होल... आखिरकार दुनिया ने वह चीज भी देखनी जिस से टकराकर रोशनी तक नहीं लौटती !
अन्तरराष्ट्रीय वैज्ञानिक इसे दुनिया को समझने की एक महत्वपूर्ण कड़ी बता रहे हैं । भगवा घेरे में काला धब्बा । बताया जा रहा है कि कइयों तस्वीरों को जोड़कर इस एक तस्वीर को बनाया गया है और धुंधली सी दिखने वाली इस तस्वीर का आकार लगभग 1000000 जीबी है । मतलब समझ पाने की शक्ति से बहुत ज्यादा!
वैसे भी मैं समझ पाता हूं बहुत कम चीज़े । वो चीज़े भी जो दिखती है हर रोज़, जिनसे टकराता हूं हर रोज़,जिनसे जुड़ा है संबंध प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से। उनको भी समझना मुश्किल है सामान्यतः मेरे लिए । मुझे नहीं पता चांद कैसे चमकता है ..? मुझे नहीं पता मेरे पड़ोस के मन्दिर की दीवार पूरी तरह चटक जाने के बाद भी क्यों टिकी है ? मुझे नहीं पता कि मुझसे इतनी बेरुखी क्यूं हैंं उनको ... और इस सब के बावजूद भी मै सोच रहा हूं ब्लैक होल के बारे में ।
अफसोस !
Khoobsurat khayal 😍😍😍😍
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